हसीन ख़्वाब | हिंदी शायरी


तुम होंठों पे जो
यूँ उँगलियाँ रख लेती हो,
चाँद पे जो तिल है
उसे ढक देती हो,
मैं तो शायर हूँ
तन्हाइयों में रहता हूँ,
तुम हसीन ख़्वाब हो
      हर इक आँख में रहती हो ♥♥


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